भारत एवं मॉरिशस के उच्च शिक्षण
संस्थानों के आपसी समन्वय को प्रगाढ़ बनाने एवं उच्च शिक्षा के क्षेत्र में आपसी
संबंधो को अधिक मजबूती प्रदान करने के उद्देश्य से भारत एवं मॉरिशस ने दो
महत्वपूर्ण समझौतों पर हस्ताक्षर किये. ये दोनो समझौते केंद्रीय मानव संसाधन विकास
मंत्री की 19-20 नवंबर, 2013 के मध्य मॉरीशस की दो दिवसीय
यात्रा के दौरान किये गये. अपनी यात्रा के दौरान उन्होंने मॉरिशस की ओर से
प्रधानमंत्री डॉ. नवीनचंद्र रामगुलाम, तृतीय शिक्षा, विज्ञान और अनुसंधान मंत्री डॉ. आर.
जेठा और शिक्षा तथा मानव संसाधन मंत्री डॉ. वसंत कुमार बनवारी से आधिकारिक वार्ता
की.
भारत एवं मॉरिशस के मध्य हुए समझौते
उच्च शिक्षा के क्षेत्र में दोनो देशों
के मध्य पहले समझौते के तहत आईआईटी दिल्ली और मॉरीशस अनुसंधान परिषद् दोनो मिलकर
मॉरीशस में अंतर्राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी अनुसंधान अकादमी संस्थान (आईआईटीआरए) की
स्थापना करेंगे.
इसी प्रकार, दूसरे समझौते के तहत भारतीय
विश्वविद्यालय संघ (एआईयू) और मॉरीशस के तृतीय शिक्षा परिषद् (टीईसी) के बीच
शैक्षिक योग्यता को आपस में मान्यता प्रदान किया जाना है. दोनों पक्ष उच्च शिक्षा
में मॉरीशस और भारत में दी गई उपाधियों को मान्यता प्रदान करेंगे.
दोनो देशों के मध्य हुए अन्य समझौते
1. मॉरिशस में समुद्र-विज्ञान की
शिक्षा एवं शोध को बढ़ावा देने के उद्देश्य से विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी)
समुद्र-विज्ञान के क्षेत्र में शिक्षा प्रदान करने वाले भारतीय सस्थानों से मॉरिशस
के सस्थानों को संबधित स्थापित करने में सहयोग करेगा. संयुक्त शोध कार्यक्रम जैसे
कि संसाधन मैपिंग तथा कार्यशालाओं का आयोजन आपसी सहयोग से किया जा सकेगा.
2. पेट्रोलियम इंजीनियरिंग तथा केमिकल
इंजीनियरिंग के क्षेत्र में उच्च शिक्षा कार्यक्रमों के विकास हेतु शोधकर्ताओं, अकादमिकों तथा शिक्षकों आदान-प्रदान
में सहयोग स्थापित करना.
3. भारत में विकसित ई-लर्निंग तथा
मुक्त शिक्षा संसाधनों हेतु मानव संसाधन विकास मत्रालय द्वारा सहयोग प्रदान किया
जाना है.
4. साइबर सुरक्षा तथा साइबर प्रणाली के
विकास हेतु मॉरिशस विश्वविद्यालय को आईआईटी दिल्ली द्वारा सहयोग दिया जाना है.
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